नलकूप लगाने का शुभ मुहूर्त कब है?, बोरिंग कराने का शुभ मुहूर्त कब है?, बोरवेल कराने का शुभ मुहूर्त कब है?, बोरिंग करवाने का शुभ मुहूर्त कब है? आज हमें इसी के बारे में जानेंगे। क्योंकि जल के लिए जब भी बोरिंग कराया जाता है। तो उसको शुभ मुहूर्त में कराना उचित होता है। क्योंकि अगर शुभ मुहूर्त में बोरिंग कराया जाए, तो उस बोरिंग का जल स्वास्थ्य के लिए लाभप्रद और वह जल स्वाद में भी अच्छा होता है।
नलकूप/बोरिंग/बोरवेल लगाने का शुभ मुहूर्त कैसे देखें?
यहां पर स्वयं नलकूप/बोरिंग/बोरवेल का शुभ मुहूर्त देखने के बारे में बताने जा रहा हूं। जिससे आप स्वयं बोरिंग करने के लिए एक उत्तम मुहूर्त निकाल सकते हैं। मुहूर्त को निकालने के लिए आपके पास कोई पंचांग होना अति आवश्यक है। बिना पंचांग के आप तिथि, नक्षत्र, वार, लग्न के बारे में नहीं जान पाएंगे। इसलिए पंचांग का होना आवश्यक है।
नलकूप/बोरिंग/बोरवेल का मुहूर्त निकालने के लिए नक्षत्र, दिन, तिथि आदि को देखना चाहिए। यहां पर शुभ नक्षत्र, दिन और तिथि के बारे में दिया गया है। जिससे आप नलकूप/बोरिंग/बोरवेल के लिए एक शुभ मुहूर्त निकाल सकते हैं।
नक्षत्र – नलकूप/बोरिंग/बोरवेल के लिए शुभ नक्षत्र हस्त, अनुराधा, तीनों उत्तरा, धनिष्ठा, शतभिषा, मघा, रोहणी, पुष्य, मृगशिरा और तीनों पूर्वा नक्षत्र शुभ होते हैं।
वार – नलकूप/बोरिंग/बोरवेल के लिए शुभ वार सोमवार, बुधवार, गुरुवार और शुक्रवार शुभ होते हैं।
तिथि – नलकूप/बोरिंग/बोरवेल के लिए शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि, कृष्ण पक्ष की अष्टमी और चतुर्दशी तिथि, पूर्णिमा और अमावस्या तिथि वर्जित (निषेध) होते हैं।
लग्न – नलकूप/बोरिंग/बोरवेल को किसी भी लग्न में प्रारंभ कर सकते हैं। लेकिन अगर जल तत्व (कर्क, वृश्चिक और मीन) के लग्न में प्रारंभ किया जाए, तो अति उत्तम होता है। अगर जल तत्व के लग्न में चंद्रमा हो तो यह सर्वश्रेष्ठ होगा।
दिशा – नलकूप/बोरिंग/बोरवेल के लिए सबसे उत्तम दिशा ईशान कोण है। इसके अलावा पूर्व और उत्तर में भी बोरिंग करा सकते हैं।
नोट – नलकूप/बोरिंग/बोरवेल को किसी भी अशुभ समय या भद्रा में प्रारंभ नहीं करना चाहिए।